'गीता गलत है, वेदांत पाप है' - दूर रहना, पढ़ मत लेना || आचार्य प्रशांत, वेदांत महोत्सव (2022)
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- čas přidán 25. 08. 2022
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⚡ आचार्य प्रशांत कौन हैं?
अध्यात्म की दृष्टि कहेगी कि आचार्य प्रशांत वेदांत मर्मज्ञ हैं, जिन्होंने जनसामान्य में भगवद्गीता, उपनिषदों ऋषियों की बोधवाणी को पुनर्जीवित किया है। उनकी वाणी में आकाश मुखरित होता है।
और सर्वसामान्य की दृष्टि कहेगी कि आचार्य प्रशांत प्रकृति और पशुओं की रक्षा हेतु सक्रिय, युवाओं में प्रकाश तथा ऊर्जा के संचारक, तथा प्रत्येक जीव की भौतिक स्वतंत्रता व आत्यंतिक मुक्ति के लिए संघर्षरत एक ज़मीनी संघर्षकर्ता हैं।
संक्षेप में कहें तो,
आचार्य प्रशांत उस बिंदु का नाम हैं जहाँ धरती आकाश से मिलती है!
आइ.आइ.टी. दिल्ली एवं आइ.आइ.एम अहमदाबाद से शिक्षाप्राप्त आचार्य प्रशांत, एक पूर्व सिविल सेवा अधिकारी भी रह चुके हैं।
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वीडियो जानकारी: 17.07.2022, वेदांत महोत्सव, गोवा
प्रसंग:
~ धर्म लड़ाई का कारण कैसे हो सकता है?
~ धर्म में इतनी क्रूरता (brutality) कैसे आ जाती है?
~ आम आदमी के लिए धर्म क्या है?
~ धर्म एकता का स्त्रोत कब बनेगा?
~ युवा धर्म से दूर क्यों जा रहे हैं?
~ धर्म क्या है?
~ असली धार्मिक आदमी कौन है?
~ युवा धर्म के नाम पर क्या कर रहे हैं?
~ क्या है जो सिर्फ़ नौकरी से ही मिला करती है?
~ पिछले कुछ दशकों मे कौनसा नया रोजगार पैदा हुआ है?
~ वास्तविक धार्मिकता युवाओं में होती तो क्या लक्षण होते?
संगीत: मिलिंद दाते
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Thank you....
Sir iss video ko short bna kr jarur daliye CZcams pr
मनुस्मृति में साफ साफ लिखा है :
1) जो ज्ञान अर्जन नही करता वो शुद्र है।
2) जन्म से सभी शुद्र होते है ,
3) ज्ञानी लोगो के संपर्क में रहने वाला , सदाचार का पालन करने वाला, वेद विज्ञान के अध्ययन में लीन शुद्र भी ब्राह्मण बन जाता है।
Aapne south ki dog charlie 777movie dekhi 🤗🤗
Sir,
I want to read upnishad and Vedanta philosophy.
I don't know where to start
Thanks
12 अध्याय पढ़ लिऐ हैं वेदांत अभी ऑनलाइन मगवाई थी सेना में पैरा कमांडो हूं बैंगलोर बुक पढ़ना मेरी हॉबी है समय मुश्किल से निकल पाता है बहुत गहराई दी है अलग ही सोच विचार व्यवहार पैदा होता है पढ़कर जो थोड़ी भी कोशिश करेगे तो बदलाव होकर रहेगा बता स्कते हैं समझा सकते हैं रास्ता दिखा सकते है आगे आपके ऊपर है आप उस रास्ते पर चल पाते हैं या नहीं समझ सकते हैं या नहीं मन की करोगे या आत्मा की सुनोगे सब तुम्हारे ऊपर है सही रास्ते का चुनाव नहीं कर पाए तो दुनिया तो कभी right कभी लेफ्ट भगाती रहेगी भागो परेशान रहो कुछ हासिल नहीं होगा कुत्ते की तरह मुंह निकाल कर पसीने आकर गिर जाना फिर दोष देते रहना पिछ्ले कुछ वर्षों में लगभग 30 पुस्तकें पढ़ी हैं अबकी बार काफी शानदार चुनाव किया है 2015 से लेखन भी करता आ रहा हूं कभी मिलेगे आपसे पोथी पन्नों के साथ आयेगे तो मदद भी करेंगे कुछ फाउंडेशन में धन्यवाद आचार्य जी🙏❤️ 🙏
❤
❤
App mile Acharya ji se ?
जो संस्था में योगदान करने में सक्षम नहीं हैं मेरे जैसे 😢 वो एड को पूरा देखकर एक हल्की सी मदद कर सकता हैं😊😊
वर्ण व्यवस्था क्या है ? ,,,,, एक दुसरे को निचा दिखाने की व्यवस्था है
-सत्य वचन आचार्य प्रशांत
गीता अवश्य पढ़ना चाहिए। गीता को पांचवां वेद भी कहा जाता है।
Thanks!
जिसने प्रश्न पूछा उससे बस यही आग्रह है कि वो कुछ दिन सुने, ऑब्जर्व करे। मैं किसी भी ऐसी बात में यकीन नहीं रखता जो सच न हो, अंधविश्वास से प्रेरित हो। मुझे जितने भी धार्मिक और आध्यामिक लोग मिले सब पोंगापंडित ही मिले। आचार्य जी को सुन के लगा नहीं की कहीं कोई खोट है। शत शत नमन l कोटि कोटि प्रणाम।🙏🏻😊
जी... मैं भी यही कह रही थी उनको
पहले पढ़ने से वंचित किया गया और अब वे खुद नही पढ़ रहे है। 🥺
पशु जितता हैं ,,,,, चेतना हारती हैं,,,, गीता को आज तक समझा किसने हैं ?,,,, आज सब अपनी अपनी दुकानें चलाते हैं
-सत्य वचन आचार्य प्रशांत
जिसने आत्मा, जीव जगत और वैदांत को पढ़ और समझ लिया उसे किसी भी प्रकार का डर नहीं और मोत से तो बिलकुल भी नहीं..
thanks
सब आत्मा हैं तो कोई निचा कोई ऊंचा केसे हो गया ???
-सत्य वचन आचार्य प्रशांत
वेदांत कहता है तुम्हे स्वयं से आज़ादी मिलनी चाहिए। ♡♡♡
इतनी मेहनत सत्य को खोजने में करी होती तो मुक्ति मिल जाती अब तक😂👌
आदमी को बिगाड़ने के लिए ग्रंथ नहीं चाहिएं ,,,, आदमी चाहिए,,,, आदमी बिगड़ा हुआ हीं पैदा होता हैं,,, सत्य वचन आचार्य प्रशांत
हमला सिर्फ शरीर पर ही नही होता हमले बहुत तरह के होते हैं कुप्रचार इत्यादि
आचार्य जी की यह बात अत्यंत प्रासंगिक है आज के दौर में....
वेदांत असली आध्यात्मिक ग्रंथ है, असली हीरा है, जो इसे समझ गया फिर कुछ और समझने की जरूरत ही नहीं परेगी।
Hamare desh me galat dhaarna ban gyi ,
Sabko lagta h ki geeta aur vedant sirf budhaape ki cheez h,
Yahi cheez humare desh ko peeche kar rha h 🙏🏻🙏🏻😭
Bilkul sahi
आचार्य जी आज आपने यह बात उजागर कर दी कि मुझे हर वर्ग से धमकियां मिल रही हैं। और ये लगता भी था हमे।
मगर आज के परिवेश में आपकी बाते पसंद करने वालों की संख्या काफी है और बढ़ भी रहे हैं। हम सब साथ देगे आपका। इसलिए आप वही कहिये जो सही है।
आपने युवा वर्ग को साधा है बात यही उनके लिए खतरनाक है।भगवान आपको लम्बी उम्र दे 😊😊😊
भारत ने संसार को वेदांत जैसा बहुमुल्य खजाना दिया है और हम भारतीय वेदांत से अनभिज्ञ हैं। हम वेदांत के निकट जाने से भी कतराते हैं। कितना दुर्भाग्यपूर्ण है ये सब हमारे लिए।
प्रणामम आचार्य जी बहुत सुंदर स्पष्टीकरण गीता और उपनिषद पर धन्यवाद अष्टावक्र गीता ऐसी ही पुस्तक है जिसमें कोई कॉन्ट्रोवर्सी नहीं और इसका ट्रांसलेशन हिंदी में किनले पर उपलब्ध है 108 उपनिषद भी उपलब्ध है और गीता का हिंदी अनुवाद भी जो पाखंड का खंडन करता है उसे समाज का विरोध सहना पड़ता है वही आचार्य जी आपके साथ हो रहा है पर यह एक सत्य काम है और भ्रांतियों और गलत धारणाओं मान्यताओं का दूर होना आज के युवक के लिए और उसके भविष्य के लिए बहुत आवश्यक है धन्यवाद
दलित लोग वेदांत से पहले भी चुक गए आज भी चुक रहें हैं ऐसे अज्ञानी लोगों कि वजह से,,,,कितनी नालायकी चल रही हैं भारतीयों के साथ
-सत्य वचन आचार्य प्रशांत
👌👌👌👌
जीना यहां, मरना यहाँ
इसके सिवा जाना कहा 💛🥺
बच्चे बिगड़े हुए नहीं पैदा होते हैं, माँ, बाप और लोग बिगाड़ने या अच्छा बनाने का जिम्मेदार है
आपकी बात लालचियों और धर्म को धंधा बनाने वाले के लिए खतरा है , कर्मकांड वाले आपसे चिढ़ते है,
भगवान ऐसे गुरु की रक्षा करें,जो निष्काम भाव से लोगों को अंधकार से प्रकाश की तरफ ले जा रहे हैं। 🙏🙏
गर्व से कहो हम गुरु श्री आचार्य प्रशांत जी का भाषण सुनते हैं| 🇮🇳
Last 5 minutes were emotional !! Ap kranti la rahe ho bharat me.. log aj nhi to kal jarur samjhenge.
जो चीजे संस्कृत में लिखीं गईं है वो जरूरी नहीं आध्यात्म से मेल खाती हों, वो कूड़ा कचरा भी हो सकती हैं 🙏🙏🙏🙏
गुरुवर आपको कोई क्या मारेगा आप तो जीते जी अमर हो चुके हैं🤗🤗🤗🤗.......
नमस्ते आचार्य जी आप आने वाले समय में मॉडर्न इंडिया के गांधी जी होंगे सारा भारत ही नहीं विश्व आप का गुणगान करेगा ऐसा मेरा विश्वास है आप विश्व गुरु के रूप में विख्यात होंगे
आप सही है आचार्य जी हम लोग आपके सदेव ऋणी रहेंगे आचार्य जी भारत देश को आपके जैसे महान पुरषों की जरुरत हैं ।
जिसने वेदांत को आत्मसात कर लिया है उसे धमकियां क्या डराएंगी । 🌾❤️
नाज़ है उन लोगों पर जो हर दिन आचार्य जी को सुनके अपने जीवन को समृद्ध तो करते हैं, लेकिन संस्था को किसी भी प्रकार का आर्थिक सहायता नहीं करते, समर्थ होने के बाबजूद भी 😥 !
sarcasm
Sahi baat hay, bhai maine soch rakha hai ki job lagne k bad na sirf sahyog karunga balki kam ko aage bhi badhaunga
@@ajay-lc6hs इसमें Sarcasm कहाँ दिखाई दिए आपको!? अजीब है यार!
@@bheem576 aise log har jagah h bhai ... don't mind
What is proper book on vidhanta, please share us.
आचार्य जी आप बिलकुल सही बातें बताते हैं कि कि बहुत से लोग जो वेद को सही से नहीं पढ़ते बस अहंकार ही करते हैं उनकी सारी ऊर्जा गलत तरीके से काम करने में लग जाती है जब वेद कहते हैं कि कर्म से ज्ञान से नम्रता से वेद को पढ़ने और समझने वाले ही ब्राह्मण हैं बाकि जो लोग जन्म से ब्राह्मण बताते हैं उनको तो वेद, पुराण, उपनिषद की abcd भी नहीं आती है इनकी औरतों को तो सही से कोइ ज्ञान नहीं है बस जन्म के आधार से ही ब्राह्मण बन कर नीच दिखाते हैं सामने वालों को. आचार्य जी आप कहते हैं कि ज्ञान अर्जित करने वाला वेद उपनिषद पढ़ने वाले ही ब्राह्मण हैं मगर आजकल बहुत से लोग वेद पुराण को पूरा और अच्छे से ज्ञान अर्जित करते हैं तो समाज के ठेकेदार कहते हैं नहीं ब्राह्मण जन्म से होता है मौका पड़ता है तो कर्म से होता है. लेकिन आज भी यह लोग कर्म वाले इंसान को ब्राह्मण, पंडित नहीं बनने देते हैं लेकिन आप बहुत ज्ञान की बाते समझाते हैं और हाल के बाहर आकर यही लोग जन्म और कर्म को एक साथ मिला कर वेदांत को गड़बड़ करते हैं
इंसान इतना भ्रष्ट हैं कि वो शास्त्र को भी भ्रष्ट कर देता हैं
-सत्य वचन आचार्य प्रशांत
शास्त्र वो है जो अहंकार एवं मुक्ति की बात करे। ☆☆☆
Vedant hi Sabh Kuch hai
मैं तड़प रहा था। सुबह से ही आचार्य जी
Satya vachan acharya ji log na pehle ramcharitmanas mahabharat aur bhagvadgita ko samajhte the aur naa aaj samajhna chahte hain 🕉🙏
Jo sache hindu hai wo aapke saath hai.
झूठे हिंदु कौन होते हैं.... 😊
वैदिक धर्म का अर्थ ही वेदांत है। 🌻
Namaste 🙏
I am a Muslim and I love your videos ❤️
Please don't carry identity
आज के वीडियो मे Editors ने बहुत मेहनत की है, ये वीडियो की editing मे साफ दिखाई दे रहा , यहीं वजह था आज का वीडियो night मे प्रकाशित हुआ मैं प्रतीक्षा में था सुबह से, पर सब्र का फल मुझे मिल गया ज्ञान के भंडार के रूप में !!आप सभी का सत्य एवम् आचार्य के प्रति निष्ठा एवम् समर्पण देख मै आप सब को भी आज सत सत नमन करता हूं 🙏🙏🙏🙏❤️❤️❤️
🙏🙏
शास्त्र वो जो अहंकार और मुक्ति की बात करे। नमन आचार्य जी 🙏😊
Acharya ji mai UP ke ek chote se gaon mein rhti hu aur Bsc 2nd year ki student hu aur mai pichle lagbhag ek mahine se aap k videos dekhti hu aur meri jigyaasa badhti hi ja rhi hai vedant ko jaanne ki.
Aap ko sunkar cheezo ke prati mera pahle ka najriya bilkul badl gya hai.
Maine apki books mangai hai aur mere liye ye bde sobhagya ki baat hai ki aap jaisa path pradarshak humein praapt hue hai.
सारे बर्गों को आचार्य जी से समस्या है। जब तक आप किसी भी समुदाय या विचारधारा से खुदको बांध कर रखेंगे, तब तक आपको सत्य से समस्या होगी। अपना व्यक्तित्व में निखार लाईए, जीवन में बल और वेदांत का प्रकाश अपने आप आएगा।
Parnam Guru ji
आचार्य जी ने तरीका से ऐसे सोच रखने वाले सभी को धो डाला 🙏🙏
वेदांत ही सत्य को जानने का एकमात्र तरीका है , अध्यात्म आप से ही समझा है आचार्य जी आपको नमन 🙏🙏🙏 आप जैसे महापुरुषों के कारण ही हम युवा सच्चे अध्यात्म को समझ पा रहे है 🙏🙏
बिलकुल सही कहा आपने, आचार्य जी एक महान गुरु है
🇮🇳🇮🇳🇮🇳🇮🇳
आचार्यजी भगवान का ही रूप है।लोग पहचान क्यों नही पा रहे?कैसे कोई उनको नुकसान पहुंचाने की सोच सकता है?....सही व्यक्ति की तो उम्र लम्बी होनी चाहिये,हम सबको उनका ज्यादा से ज्यादा ध्यान रखना चाहिए। यदि किसी को सही जीवन नही जीना तो मत जियो,पर जो सही जीवन जी रहा हे,उसे तो किसी तरह का नुकसान मत पहुंचाएं ।....🙏🏼
क्युकी आप सिर्फ घर में बैठे कॉमेंट करते हो , और वो सरेआम काम करते है
भौतिकवादी लोग, जिनके पास इस दुनिया की प्रचुर धन संपदा है, और जिनका काम ही व्यापार है, वह कभी नहीं चाहते कि आमजन में सत्य का प्रचार हो, नहीं तो उनकी दुकानें चलना बंद हो जाएंगी भैया, इसलिए यह शक्तिशाली लोग हमेशा से ही सत्य को दबाते आए हैं, आपने कभी देखा है अखबारों में गीता और वेदांत का प्रचार प्रसार, किसी पाखंडी संत के पास तो एमएलए एमपी मंत्री सभी पहुंच जाते हैं, आचार्य जी के पास क्यों नहीं पहुंच रहे? आचार्य जी तो शरीर से ऊपर उठ चुके हैं, लेकिन अगर हमें सत्य सुनना है, तो आचार्य जी की सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम भी करने ही होंगे ... (यह मेरी व्यक्तिगत राय है) 🙏
भाई भगवान मत बनावो नहि तो लोग उनकी मंदिर बना dalenge। उनको आचार्य (गुरु) हि रेहने दो।
बहुत बहुत धन्यवाद आचार्य जी....मार्ग दर्शन करने के लिए...
श्रीमद्भगवत गीता का हर अक्षर सत्य है। किसी की भी औकात नही है श्रीमद्भगवत गीता पर टिप्पनी करें।
वेदांत सनातन धर्म का सुप्रीम कोर्ट है...🙏
Hamare pass Kitni galat jankariyan Bhari hui thi aapane unko bahut vistarpurvak sahi Kar Diya🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 jay ho Aap ki
Sahi kaha acharya ji aapne adhikansh logon ne granth na pade aur na samajhe hain aur inka nam leke kutark karne aajaate hain .aap sache kranrikari hain hamare grathon ko aap jase marmgyon ki aavshyakta ha.koti koti naman acharya ji 🙏
हीरा पड़ा बाजार में, रहा छार लपटाए
केतिहे मूरख पचे , कोई पारखी लिया उठाए
Yeh kiska doha h...kabir saheb ka??
Geeta पढ़ने में हर बार अलग अर्थ समझ आता है
आचार्य जी प्रणाम , आपने वेदांत सार का स्पष्टीकरण किया , वेदों में धर्म की सरल परिभाषा एक वाक्य में ही कर दी , धारयेती इति धर्म: ब्रम्ह जानेती इति ब्राम्हण: । मनसा, वाचा , कर्मणा , अंतरशुध्दी बाह्यशुध्दी । प्रवृत्ति , निवृत्ति , । आइंस्टाइन का सिद्धांत सापेक्षता का है , निरपेक्षता नहीं,यह हमने पढ़ा । फिर धर्म निरपेक्ष कैसे , भूख लगने पर भोजन करना शरीर धर्म , प्यास लगने पर पानी पीना शरीर का स्वाभाविक धर्म है। शरीर की सारी इंद्रियां , ज्ञानेंद्रियां, कर्मेंद्रियां, अपने अपने शास्वत सत्य के साथ अपने धर्म का पालन करती हैं । आंख ,कान ,नाक, जिव्हा , स्पर्श, । देखना ,सुनना गंध, रस , स्पर्श के माध्यम से अपने धर्म का निर्वहन निष्काम भाव से करते है । ज्ञानेंद्रियां की प्रवृत्ति ही अगर दूषित मानसिकता लिए हो , तो उसमें धर्म का क्या दोष ।
जिसने गीता पढ़ा और समझा अपने जीवन में उतारा समझो उसकी नैया पार।।
वेदांत सनातन धर्म का सुप्रीम कोर्ट है
कब जागेगा हिन्दू समाज।। हे भगवान।🥺
जितना जरूरी है movie को बायकॉट करना,
उतना ही जरूरी है movie का बचा पैसा सही काम मे लगाना।
आचार्य जी मैं आपके चरण स्पर्श करता हूं और रही बात आपको हानि पहुंचाने की तो वे लोग स्वयं की ही हानि पहुंचा रहे है । आपने लोगो को प्रेम सिखाया है और मुझे आशा है वे लोग भी आपको एक दिन प्रेम करेंगे क्योंकि साच को कभी आंच नहीं होती । हम सब आपके ज्ञान के भूखे है हमे ऐसे ही ज्ञान देते रहें । 🙏🙇
गीता भी वेदांत का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है...🙏💯✨
सबसे अच्छी मौत वही होगी की जब हम निष्काम कर्म करते हुए मरेंगे। हम वही कर्म करते हुए दुनिया को अलविदा कहेंगे, जिसमें हमें आत्मिक आनन्द मिल रहा हो। आचार्य जी आप पर ईश्वर की कृपा बनी रहे एवं आप दीर्घायु हो। अभी जमीनी स्तर पर बहुत कर्म करना है। आचार्य जी आपने वेदांत के मर्म को इतना बारीकी से समझा दिया है, विशेषकर पश्चिम का उदाहरण देकर की वेदांत ही सब कुछ है। तो मन में वेदांत से दूर होने की बात कहीं से आती ही नहीं। ♡♡♡♡♡
हम आपको फॉलो करते हैं, क्योंकि बहुत कुछ सीखने को मिलता है। मेरा ये कहना है आचार्य जी कि आज हम पढ़ने लिखने लायक बड़े हुए हैं इसका मतलब ये नहीं कि हमसे पहले कोई पढ़ने लिखने लायक नहीं थे। जबकि सारे ग्रंथ तो हजारों वर्षों पहले लिखी गयी और अनेकों विद्वान इसे पढ़ने बोला होगा फिर भी स्थिति आज भी जस की तस है, उल्टे पाखण्ड बढ़ गया, इससे हम इनकार नहीं कर सकते। फिर आप हमें इन्हें पढ़ने क्यों कह रहे हैं। नीचे तबके के लोग यही तो कह रहे हैं कि जिससे हजारों सालों से हमें फायदे नहीं मिल पाए तो अब उनको ना ही पढ़ा जाय, बल्कि स्कूलों कालेजों में जो पढ़ाया जाता है सिर्फ वही पढ़े तो संभव है कि लोग विज्ञान को अच्छी तरह पढ़ सके, समझ सकेंगे, जैसा कि आपने बताया कि वेदों की तरह विज्ञान को भी लोग अच्छी तरह पड़ते नहीं हैं। सच तो ये है कि देशवासी दोनों तरह की बातें पढ़ सुन के भ्रम में रहते हैं, इसलिए एक को बंद करें और दूसरे को (विज्ञान) को ज्यादा महत्व दें।
क्योंकि इस युग मे लोगो को प्रत्यक्ष को समझना अच्छा लगता है, इससे पाखण्ड दूर होता नजर आ रहा है।
Hame vedant ka fir se pracha shuru kar d na chahiye ise bhot madat hogai logo ko samjhne liye fir ye sab ke liye kio nahi 😏🧐👀😌🤫😇
अगर कोई दर्शन है जो जाति ही नही हर तरह के बंधन से मुक्ति देता है तो वो ⚡वेदांत ही है । 🌈💛🙏🏻
अगर कोई एक दर्शन है, जो मनुष्य को जातिगत भेद से ही नहीं हर तरह के भेद से मुक्त कर सकता है, तो वह है वेदांत
~ आचार्य प्रशांत
is kshetra me Prashant sir Ka yogdan adbhut hai jo ved,upnishad ke gyan se waise logo ko shikshit kar rahe hai jo nam ke hindu hain blke aaj ke daur me to Hindu hone kamatlab anti Muslim hona hi rah gaya hai.un agyaniyo ke liye ye Sahi prashikshan Kendra hai.
प्रणाम आचार्य जी।मैं आज समझ गया की वेदांत को पढ़ना बहुत बहुत जरूरी है । मैं आज संकल्प लेता हूं की आपकी सभी बोध सामग्री पढूंगा और वीडियो कोर्सेज खरीदूंगा और देखूंगा।
गीता वेदांत का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है
~आचार्य प्रशांत
वाह आचार्य जी 🔥👌🙏🏼 आपके मौत के प्रति बेफिक्री विचार ❣️🙏🏼🥰 गदगद हो गए सुनकर 😇 शुक्रिया
भला हो आपको 🙏🏼 🙏🏼
सद्गुरु वो जो सार्थक कर्म करके अपने शिष्यों को प्रेरित करे...
आप मेरे प्रेरणास्रोत रहे है आचार्य जी
जब आपको देखता हु अपने लक्ष्य की और मजबूती से बढ़ते हुए तो उसी प्रेरणा का संचार मुझमें होता है।
आपका हर संभव साथ देने का पूरा प्रयास करूंगा 🙏🏻
नमन 🙇♂️
Parmaatma swayam aapke saath hai ..acharya ji 🙏🏾🌿.....
सबकुछ मन का फितूर माया है
और वेदांत शुद्ध परम तत्व आत्मा ( ईश्वर )की
बात करता है , वेदांत दर्शन सनातन संस्कृति
का सार तत्व केवल मात्र मैं आत्मा हूं और कुछ नहीं ... ॐ शिवोहम
मुझे लगा आचार्य जी को सुनने के बाद हर जाति धर्म में अक्ल आ रही है ।
परंतु यही वहीं हाल है
और ये लोग वैसे ही सोच के जिसने आपको पत्र लिखा । क्योंकि उन्होंने भी आपको नहीं सुना और न समझा
बिना सुने समझे ही सिर्फ विरोधी है
इस वीडियो के लिए ज्यादा मेहनत करी गई है , और इस वीडियो का इस समय पर पब्लिश होना इस वीडियो की गंभीरता और जरूरत को बताता है ।
प्रणाम , और बहुत धन्यवाद आचार्य जी 🙂🙂🙇👣🙏🙏🙏
ये मेरा परमसौभाग्य और शुभ कर्मों का फल है जो आज मैं आचार्य जी को सुन पा रहा हुं
गुरु जी को मेरा कोटि कोटि नमन 🙏🏼
❣️बोहोत बड़ी बात आध्यात्मिकता से राजनीति करना छोड़ दीजिए❣️
Pranaam acharya ji
Humme aise IIT Spirituality Guru ki Aawshyakta hain...
Aapko Chadad Vandana.....Sat Sat Naman.....Jai Hindu Rashtra 🕉. Jai Akhand Bharat. Jai Sanatan Dharma. India 🇮🇳 should be declared as Hindu Rashtra 🕉.
मैं पहले ही एक बार वेदांत की पूरी किताब पढ़ चुका हूं, और पहले पृष्ठ में ही स्पष्ट लिखा है कि हर पाठक जो इस ग्रंथ को पढ़ रहा है, वह स्वयं के लिए अपना अर्थ नहीं बनाता है, यह इसके लिए है , गलत धारणाएं न करें और इस पुस्तक को अहंकार में न पढ़ें, अन्यथा यह पुस्तक बिल्कुल भी मदद नहीं करेगी। अर्थ का अनर्थ ना करे वर्ना इसे पाठक का ही विनस होगा, सही मन से पढ़े।
🙏💐ଜୀମେନେ ଓଡିଆସେଵୋଲରହାହୁଁ💐🙏ଆପ୍ ଜୋବିବୋଲତେ ଓ ତସହୀବାତ ଓ ସବ୍ ସହି ଆରଵୁରା
ସଭୀକାଭଲାକେ ସାସ୍ରକୀବାତହେ
ଲେକୀନିଜୋବୁରାଷୋଚେତ
ଓସୁଧାରନେହୀପାଏଗା
🙏💐ନମୋନମୋନମୋ💐🙏
कोटि कोटि प्रणाम आचार्य जी 🙏🙏
मनुष्य अपनी जाती स्वयं निर्धारित करता है एवं हमारा अपना स्वभाव ही हमारा वर्ण व्यवस्था का निर्धारण करता है !
वेदांत से ही पुरी दुनियां को प्रकाश मिला है जो इसके शरण में आयेंगे वो प्रकाश की तरह चमकेंगे सत्य को स्वीकार नहीं करोगे तो रोज पीटते रहो अचार्य श्री गुरुदेव के चरणों में कोटि कोटि प्रणाम 🙏🙏🙏🙏🙏
❤️🙏
Bharat Ratna acharya Shri ko naman.
Sari galatfaimiya dur ho gyi Acharya Ji 🙏🇮🇳🚩🕉️🔱 Dhanyawad Guruji 🙏🚩🇮🇳🔱🕉️
प्रथम टिप्पणी।
शत् शत् नमन।
पथ प्रदर्शक !गुरुदेव! आचार्य जी।
Guruji ap anay yuva ko achhi rah dikha rahe hai,apko bhagwan bhatake huy yuwa ko rah dikhne ke liy bheja hai.jai guru ji
ashtavakra gita में पहले ही श्लोक का पालन करोड़ों में कोई एक व्यक्ति ही कर पाएगा क्योंकि उसमे सभी तरह के विषयों को विष के समान जानने की सलाह दी गई है।
और हमे तो विषयों का चिंतन करने में बड़ा मजा आता है।😂
Vishyon ko vish ke samaan chod do ka matlab hai ki budhi se vishyon ka aksarshan hata do na ki sab chod ke jungle me chale jao
बहुत बहुत धन्यवाद
कोटि कोटि आभार।🙏🙏
ye kahna galat nahi hoga ki acharya jii krishna ke awtar h..main unmein krishna ko ab dekh sakta hun...🙏🙏🙏🙏🙏
pranam acharya jii
हम जिससे बीमार पड़ते हैं, वो किसी ग्रंथ के अंदर नहीं है, हमारे शरीर के अंदर है, वो हमारी पाशविकता है, वो हमारा मूल अज्ञान है जो हम जन्म के साथ लेके पैदा होते हैं।
मनुस्मृति में साफ साफ लिखा है :
1) जो ज्ञान अर्जन नही करता वो शुद्र है।
2) जन्म से सभी शुद्र होते है ,
3) ज्ञानी लोगो के संपर्क में रहने वाला , सदाचार का पालन करने वाला, वेद विज्ञान के अध्ययन में लीन शुद्र भी ब्राह्मण बन जाता है।