Komentáře •

  • @rishabhjain8924
    @rishabhjain8924 Před 2 dny

    NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU NAMOSTU BHAGWAN JI GURUDEV JI🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

  • @drpadmajachandake3994
    @drpadmajachandake3994 Před 2 dny +3

    Namostu Acharya bhagwan namostu namostu namostu

  • @SuvratJainDL
    @SuvratJainDL Před 2 dny +4

    Acharya bhagwan

  • @ankitjain5574
    @ankitjain5574 Před 2 dny +1

    ॐ शांति
    भावपूर्ण श्रद्धांजलि

  • @alkajain1643
    @alkajain1643 Před 2 dny +1

    नमोस्तु आचार्य भगवन 🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

  • @geniusshubham4400
    @geniusshubham4400 Před 2 dny +2

    Namostu guruvar 🙏🙏🙏

  • @nehajain2399
    @nehajain2399 Před 2 dny

    🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

  • @anujjainsir6044
    @anujjainsir6044 Před 2 dny +1

    Oh god 😟😭☹️☹️☹️

  • @skdk1734
    @skdk1734 Před 2 dny +2

    🙏🙏🙏

  • @ArhumJain-ip6mp
    @ArhumJain-ip6mp Před 2 dny

    विचारणीय है कि बिना सम्यक दर्शन के एवं आचार्य आदि पद पर रहते हुए,आगम में समाधि मरण नहीं माना गया है।

    • @ankitjain7228
      @ankitjain7228 Před 2 dny +1

      परम् पूज्य धरती के देवता आचार्य भगवान विराग सागर जी महाराज ने अपने पद का त्याग कर सभी जीवों से क्षमा मांगते हुए वा क्षमा करते हुए आचार्य भगवान विशुद्ध सागर जी को अपना पद दिया और सबसे बड़ी बात ये है कि ये सब चोरी छिपे नहीं हुआ आचार्य श्री ने खुद बोला वीडियो बनवाया और इस साक्षात वीडियो के माध्यम से ही वो जानकारी खुद आचार्य श्री ने घोषणा की। आचार्य श्री की इतना ज्यादा चेतना थी और इतने दूरदर्शी थे धन्य है आचार्य श्री।

    • @atishaymodi5692
      @atishaymodi5692 Před 2 dny +3

      आप केवली है क्या जो किसी के सम्यक दर्शन के होने नहीं होने का प्रमाण देगे।
      श्रावक के भावलिंग और द्रव्यलिंग पर भी विचार व्यक्त करे और स्वयं के श्रावक धर्म का परिचय दे।
      आचार्य श्री ने पद का त्याग किया था और पट्टाचार्य का स्पष्ट नाम उल्लेखित किया है। आपसे निवेदन है कि किसी भी विषय में पूर्ण जानकारी होने पर ही सोशल मीडिया पर जिन शासन और संघों के प्रति लिखे ।
      आपके केवल्य में स्वयं के श्रावक धर्म का भी ज्ञान होगा।विचार करे

    • @atishaymodi5692
      @atishaymodi5692 Před 2 dny +2

      ​@@ankitjain7228ये महोदय आचार्य के सम्यक दर्शन का प्रमाण दे रहे ।पता नही पंचम काल में कबसे केवल ज्ञान होने लगा ।
      ये तो पक्का है महोदय अभी मिथ्या दर्शन में हैं

    • @ankitjain7228
      @ankitjain7228 Před 2 dny

      ​@@atishaymodi5692 आगम में ये उल्लेख जरूर है की किसी जीव की दुर्गति निश्चित हो चुकी है तो उसकी सोच उसकी भावना सभी मुनिराजो के लिए कभी सम्यक नही हो सकती । ऐसे जीव दया के पात्र है बेचारे ।

    • @aadijain5126
      @aadijain5126 Před 12 hodinami +1

      ​@@atishaymodi5692u roasted him correctly.🔥👏👏

  • @anjanajain9407
    @anjanajain9407 Před 2 dny

    Tum her jagah coment karne aa jaate ho